
च्यवनप्राश एक प्राचीन आयुर्वेदिक संरूपण है, इसका सेवन भारत में काफी किया जाता है। इस हर्बल उपचार को अब कोविड-19 से बचने के लिए इम्युनिटी बढ़ाने तक पहुंच गई है। इसकेस्वास्थ्य लाभों की वजह से, च्यवनप्राश का उपयोग प्राचीन काल से आयुर्वेदिक चिकित्सकों द्वारा प्रतिरक्षा बढ़ाने और लंबी आयु के लिए किया जाता रहा है।
हाल ही में, स्वास्थ्य मंत्रालय ने 'पोस्ट COVID-19 प्रबंधन प्रोटोकॉल' जारी किया, जिसमें च्यवनप्राश का सेवन, योग आसन, सांस लेने के व्यायाम, रौज़ाना सुबह या शाम को चलना जैसी सलाह दी गई हैं।
कोविड-19 प्रबंधन पर मंत्रालय के दिशा निर्देश भी संतुलित पौष्टिक आहार खाने की सलाह देते हैं और पर्याप्त आराम और नींद लेने के लिए भी कहा गया है। इसके अलावा शुरुआती लक्षणों जैसे कि तेज़ बुखार, सीने में दर्द, सांस की तकलीफ, आदि को नज़रअंदाज़ नहीं करने को भी कहा है।
आयुष मंत्रालय ने पंजीकृत आयुर्वेद चिकित्सक के निर्देशन में सुबह गुनगुने पानी / दूध के साथ च्यवनप्राश के उपयोग का सुझाव दिया था। लेकिन क्या सच में च्यवनप्राश कोविड-19 संक्रमण से हमारी सुरक्षा कर सकता है?
च्यवनप्राश विटामिन, खनिज और शक्तिशाली एंटीऑक्सिडेंट से भरपूर होता है, जो प्रतिरक्षा प्रणाली को मज़बूत करने और स्वास्थ्य समस्याओं को रोकने में मदद कर सकता है। ऐसा माना जाता है कि चयवनप्राश में मौजूद उच्च विटामिन-सी सामग्री आपकी प्रतिरक्षा बढ़ाने के साथ कई तरह के वायरल और बैक्टीरियल संक्रमणों से बचाती है, जैसे आम सर्दी और खांसी।
फ़िलहाल अभी तक ऐसा कोई वैज्ञानिक अध्ययन नहीं हुआ है जिससे ये साबित हो कि च्यवनप्राश से कोविड-19 रोका जा सकता है या ठीक किया जा सकता है। #SHARE #COMMENT